उनकी मोहब्बत का अभी निशान बाकी हैं ,
नाम लब पर हैं मगर जान अभी बाकी हैं ,
क्या हुआ अगर देख कर मूंह फेर लेते हैं वो ..
तसल्ली हैं कि अभी तक शक्ल कि पहचान बाकी हैं !
न वो आ सके न हम कभी जा सके ,
न दर्द दिल का किसी को सुना सके ,
बस बैठे है यादों में उनकी ,
न उन्होंने याद किया और न हम उनको भुला सके !!
दर्द ही सही मेरे इश्क का इनाम तो आया ,
खाली ही सही हाथों में जाम तो आया ,
मैं हूँ बेवफ़ा सबको बताया उसने ,
यूँ ही सही , उसके लबों पे मेरा नाम तो आया।
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Aapko ye post acchi lage to plz comment karein